Category: Hindi Poems
मैं भी शायद बुरा नहीं होता Me bhi shayad bura nahi hota कोई काँटा चुभा नहीं होता दिल अगर फूल सा नहीं होता मैं भी शायद बुरा नहीं होता …
मान मौसम का कहा छाई घटा जाम उठा Maan mausam ka kaha chai ghata jam utha मान मौसम का कहा, छाई घटा, जाम उठा आग से आग बुझा, फूल …
बैठ लें कुछ देर आओ Beth le kuch der aao बैठ लें कुछ देर, आओ झील तट पत्थर-शिला पर लहर कितना तोड़ती है लहर कितना जोड़ती है देख …
कुछ तो मैं भी बहुत दिल का कमज़ोर हूँ Kuch to me bhi bahut dil ka kamjor hu कुछ तो मैं भी बहुत दिल का कमज़ोर हूँ कुछ मुहब्बत …
शीश-मौर बाँधने लगा फागुन Shish-mor bandne laga phagun आमों के शीश- मौर बाँधने लगा फागुन । शून्य की शिलाओं से- टकराकर ऊब गई, रंगहीन चाह नए रंगों में …
कोई काँटा चुभा नहीं होता Koi kanta chubha nahi hota कोई काँटा चुभा नहीं होता दिल अगर फूल सा नहीं होता कुछ तो मजबूरियाँ रही होंगी यूँ कोई बेवफ़ा …
जीकर देख लिया Jikar dekh liya जीकर देख लिया जीने में कितना मरना पड़ता है अपनी शर्तों पर जीने की एक चाह सबमें रहती है किन्तु ज़िन्दगी अनुबंधों …
किस ने मुझ को सदा दी बता कौन है Kis ne mujh ko sada di bata kaun he किस ने मुझको सदा दी बता कौन है ऐ हवा तेरे …