Hindi Poem of Ashok Anjum “  Tera har lafz meri ruh ko chukar nikalta he”,”तेरा हर लफ्ज़ मेरी रूह को छूकर निकलता है” Complete Poem for Class 9, Class 10 and Class 12

तेरा हर लफ्ज़ मेरी रूह को छूकर निकलता है

 Tera har lafz meri ruh ko chukar nikalta he

 

तेरा हर लफ्ज़ मेरी रूह को छूकर निकलता है.

तू पत्थर को भी छू ले तो बाँसुरी का स्वर निकलता है.

कमाई उम्र भर कि और क्या है, बस यही तो है

में जिस दिल में भी देखूं वो ही मेरा घर निकलता है.

मैं मंदिर नहीं जाता मैं मस्जिद भी नही जाता

मगर जिस दर पर झुक जाऊं वो तेरा दर निकलता है

ज़माना कोशिशें तो लाख करता है डराने की

तुझे जब याद करता हूँ तो सारा दर निकलता है.

यहीं रहती हो तुम खुशबू हवाओं की बताती है

यहाँ जिस ज़र्रे से मिलिए वही शायर निकलता है.

 

Leave a Reply

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.