Tag: Hindi Poems

Hindi Poem of Surdas “Janam akarth Khoisi , “जनम अकारथ खोइसि ” Complete Poem for Class 10 and Class 12

जनम अकारथ खोइसि -सूरदास Janam akarth Khoisi – Surdas   जनम अकारथ खोइसि  रे मन, जनम अकारथ खोइसि।  हरि की भक्ति न कबहूँ कीन्हीं, उदर भरे परि सोइसि॥  निसि-दिन …

Hindi Poem of Surdas “Diyo abhya pad thaun , “दियौ अभय पद ठाऊँ” Complete Poem for Class 10 and Class 12

दियौ अभय पद ठाऊँ -सूरदास Diyo abhya pad thaun – Surdas   दियौ अभय पद ठाऊँ  तुम तजि और कौन पै जाउँ।  काकैं द्वार जाइ सिर नाऊँ, पर हथ …

Hindi Poem of Surdas “Ab Mein Nachyo bahut gupala , “अब मैं नाच्यौ बहुत गुपाल ” Complete Poem for Class 10 and Class 12

अब मैं नाच्यौ बहुत गुपाल -सूरदास Ab Mein Nachyo bahut gupala – Surdas   अब मैं नाच्यौ बहुत गुपाल।  काम-क्रोध कौ पहिरि चोलना, कंठ बिषय की माल॥  महामोह के …

Hindi Poem of Surdas “Madhukar Swayam hamare chor , “मधुकर! स्याम हमारे चोर ” Complete Poem for Class 10 and Class 12

मधुकर! स्याम हमारे चोर -सूरदास Madhukar Swayam hamare chor – Surdas   मधुकर! स्याम हमारे चोर।  मन हरि लियो सांवरी सूरत¸ चितै नयन की कोर।।  पकरयो तेहि हिरदय उर–अंतर …

Hindi Poem of Surdas “Butha su janm Gave Hein , “बृथा सु जन्म गंवैहैं ” Complete Poem for Class 10 and Class 12

बृथा सु जन्म गंवैहैं -सूरदास Butha su janm Gave Hein – Surdas   बृथा सु जन्म गंवैहैं  जा दिन मन पंछी उडि़ जैहैं।  ता दिन तेरे तनु तरवर के …

Hindi Poem of Surdas “Aaj Ho eke k kari tariho , “आजु हौं एक एक करि टरिहौं ” Complete Poem for Class 10 and Class 12

आजु हौं एक एक करि टरिहौं -सूरदास Aaj Ho eke k kari tariho – Surdas   आजु हौं एक-एक करि टरिहौं।  के तुमहीं के हमहीं, माधौ, अपुन भरोसे लरिहौं। …

Hindi Poem of Shyamnarayan Pandey. “Chetak ki Veerta , “चेतक की वीरता” Complete Poem for Class 10 and Class 12

चेतक की वीरता -श्यामनारायण पाण्डेय Chetak ki Veerta – Shyamnarayan Pandey.   रण बीच चौकड़ी भर-भर कर चेतक बन गया निराला था राणाप्रताप के घोड़े से पड़ गया हवा …

Hindi Poem of Shyamnarayan Pandey. , “राणा प्रताप की तलवार” Complete Poem for Class 10 and Class 12

राणा प्रताप की तलवार -श्यामनारायण पाण्डेय Rana Pratap ki Talwar – Shyamnarayan Pandey. चढ़ चेतक पर तलवार उठा, रखता था भूतल पानी को। राणा प्रताप सिर काट काट, करता …